BSE पर लिस्टेड कंपनियों के शेयरों की मार्केट कैप 10 लाख करोड़ रुपये साफ हो गई है. वहीं, गुरुवार को आई गिरावट-बाजार में 2 महीने की बड़ी इंट्रा-डे गिरावट है. निफ्टी में 5 अगस्त के बाद की ये बड़ी इंट्रा-डे गिरावट है. इससे पहले 5 अगस्त को मार्केट 2.68% गिरा था. उस समय निफ्टी 662 अंक टूट गया था.
बाजार में गिरावट के 5 कारण
1- ईरान-इजराइल के बीच बढ़ता तनाव
2- F&O पर सेबी के उठाए कदम
3- FIIs का भारत से चीन की तरफ जाता निवेश
4- क्रूड का भाव $75 के पास
5- US चुनाव को लेकर घबराहट
साल | बाजार की गिरावट |
मई 2004 | -18.33% |
अक्टूबर 2011 | -15.54% |
जनवरी 2008 | -14.59% |
अक्टूबर 2008 | -14.20% |
मार्च 2020 | -13.30% |
अक्टूबर 2008 | -12.81% |
जनवरी 2008 | -12.76% |
अप्रैल 1992 | -11.72% |
मई 1992 | -11% |
मई 2006 | -10.80% |
लेकिन भारत के लिए एक अच्छी खबर भी आई... भारत दुनिया की सबसे तेजी से बढ़ती प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं में बना हुआ है और चीन को पछाड़ कर सबसे बड़ा उभरता हुआ बाजार बन गया है. इस साल भारत ने वेटेज के आधार पर MSCI इंडेक्स में चीन को पीछे छोड़ने में सफल रहा है. निवेशकों को चीन के मुकाबले भारत के हालात ज्यादा पसंद आ रहे हैं, क्योंकि यहां उन्हें अर्निंग्स में ज्यादा बढ़ोतरी देखने को मिल रही है. एक्सपर्ट्स के हवाले से CNBC ने अपनी एक रिपोर्ट में कहा है कि अगले 5 साल में अर्निंग्स सालाना 6-8% तक की ग्रोथ दिखा सकते हैं.